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हाथरस : चेतना सिंह सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने बताया है कि उ0प्र0 राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, लखनऊ के पत्र संख्या-1393/एसएलएसए-7/2021(सरन) दिनांकित 28.06.2021 के द्वारा उ0प्र0 राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, लखनऊ के माननीय कार्यपालक अध्यक्ष न्यायमूर्ति मुनिश्वर नाथ भन्डारी, वरिष्ठ न्यायाधीश, उच्च न्यायालय, इलाहाबाद की अध्यक्षता में वीडियो क्रान्फ्रेंसिग के माध्यम से दिनांक 10.07.2021 को आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत के सम्बन्ध में उत्तर प्रदेश के समस्त जनपद न्यायाधीश, समस्त प्रधान न्यायाधीश, परिवार न्यायालय व समस्त पीठासीन अधिकारी, मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण व समस्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट एंव समस्त सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण आदि के साथ आज दिनांक 02.07.2021 को वीडियो क्रान्फ्रेंसिग के माध्यम से बैठक आयोजित की गयी। वीडियो क्रान्फ्रेंसिग में जनपद न्यायाधीश सुनील कुमार सिंह-प्रथम, प्रधान न्यायाधीश, परिवार न्यायालय अखिलेश दुबे व अपर जनपद न्यायाधीश/नोडल अधिकारी, राष्ट्रीय लोक अदालत अनुराग पंवार व मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट शिव कुमारी एंव चेतना सिंह, सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने भाग लिया। कार्यपालक अध्यक्ष न्यायमूर्ति मुनिश्वर नाथ भन्डारी, वरिष्ठ न्यायाधीश, उच्च न्यायालय, इलाहाबाद ने दिनांक 10.07.2021 को आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत के सम्बन्ध में अधिक से अधिक संख्या में वादों को नियत करने तथा पक्षकारों को राष्ट्रीय लोक अदालत के प्रति जागरूक करने के दिशा-निर्देश दिये गये। उन्होंने यह भी कहा की राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधन में दिनाँक 10.07.2021 (शनिवार) को प्रातः 10.00 बजे से उ0प्र0 के समस्त दीवानी न्यायालय परिसर, एवं वाह्य न्यायालय, कलेक्ट्रेट परिसर, तथा समस्त तहसील परिसरों में राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन किया जायेगा, जिसमें आपसी सुलह समझौते के आधार पर पराक्रम्य लिखित अधिनियम की धारा 138 के अन्तर्गत आने वाले वाद, मोटर दुर्घटना प्रतिकर से सम्बन्धित वाद, वैवाहिक वाद, श्रमिक वाद, भूमि अर्जन से सम्बन्धित वाद, सिविल वाद, बैंक रिकवरी वाद, किरायेदारी से सम्बन्धित वाद, राजस्व वाद, सरकारी सेवा से सम्बन्धित वाद, वन विभाग से सम्बन्धित वाद, कन्टोनमेण्ट बोर्ड से सम्बन्धित वाद, सिविल व फौजदारी अपील, उपभोक्ता अधिनियम से सम्बन्धित वाद, यातायात चालान सम्बन्धी वाद, दुकान से सम्बन्धित व्यवसायिक वाद, वजन व नाप तौल से सम्बन्धित वाद, नगर पालिका से सम्बन्धित चालान, पुलिस अधिनियम, विद्युत अधिनियम से सम्बन्धित वाद, सिनेमा अधिनियम से सम्बन्धित वाद तथा अन्य अधिनियम से सम्बन्धित विवादों का निस्तारण आपसी सुलह समझौते के आधार पर होना है।इसके अतिरिक्त उन्होंने नियत किये गये वादों की सूचना प्रत्येक तीसरे दिन राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, के बेव पोर्टल व राज्य प्राधिकरण को उपलब्ध कराने एंव सभी जनपदों के जनपद न्यायाधीशों को कोविड-19 को ध्यान में रखते हुये सामाजिक उचित दूरी व कोविड-19 से सम्बन्धित माननीय उच्च न्यायालय, इलाहाबाद व केन्द्र व राज्य सरकार द्वारा समय≤ पर जारी गाइडलाइन का पालन करते हुये राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन कर अधिक से अधिक वादों के निस्तारण के सम्बन्ध में उचित दिशा-निर्देश दिये गये।

इनपुट : बृजमोहन ठैनुआ

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