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उन्नाव में मुख्यमंत्री के आदेश पर अग्निशमन सेवा की कार्य योजना के अंतर्गत पुलिस महानिदेशक उत्तर प्रदेश अग्निशमन सेवा लखनऊ के आदेश के क्रम में पुलिस अधीक्षक उन्नाव के निर्देशानुसार मुख्य अग्निशमन अधिकारी उन्नाव के निकट पर्यवेक्षण में अग्नि सचेतक योजना के अंतर्गत जनपद के छात्र-छात्राओं युवा महिलाएं और औद्योगिक इकाइयों के कर्मचारियों को आग से बचाव और आग बुझाने सहित अग्निशमन उपकरणों को चलाने का प्रशिक्षण फायर स्टेशन उन्नाव में शिव दरस प्रसाद अग्निशमन अधिकारी उन्नाव द्वारा अपनी प्रशिक्षण टीम के साथ प्रशिक्षण दिया गया। उन्होंने बताया कि हमारे घरों में विद्युत स्पार्किंग से अग्नि दुर्घटना होती रहती है जिस पर रोक-थाम लगाने के लिए हमें बिजली के निर्धारित भार का ही प्रयोग करना चाहिए। बिजली के प्लग में निर्धारित बिजली के उपकरणों को लगाना चाहिए। घर के बिजली वायरिंग में भारतीय मानक ब्यूरो द्वारा निर्धारित बिजली के तार व उपकरणों का प्रयोग करके बिजली वायरिंग में निर्धारित एमसीबी व ई एलसीबी लगवाने से अग्नि दुर्घटना का न्यूनीकरण किया जा सकता है। बिजली के प्रेस को उपयोग के बाद तुरन्त बंद करना न भूलें ।मोमबत्ती, चिराग व अंगीठी का अगर इस्तेमाल करना पड़े तो उसे सुरक्षित स्थान पर रखना न भूलें। घर में बिजली व गैस की आग बुझाने हेतु एबीसी फायर एक्सटिंग्विशर क्षमता 2 केजी अपने घर में रखकर घरेलू सामानों की सुरक्षा कर सकते हैं। आग लगने पर आग-आग चिल्लाए जिससे अधिक से अधिक लोग आपकी सहायता हेतु एकत्र हो सके। आग बुझाने के लिए निर्धारित फायर एक्सटिंग्विशर अथवा बालू का प्रयोग करें। आग के निकट से अन्य ज्वलनशील सामग्री को दूर हटा लें। तेल भरते समय गाड़ी में आग लगी हो तो उसे पेट्रोल पंप से दूर ले जाने का प्रयास करें ।आग लगने पर बिजली की सम्पूर्ति बंद करा दें। आग लगने की सूचना तत्काल फायर सर्विस के कंट्रोल रूम 9454 41 86 60 पर सूचना दें ।सूचना देते समय निकट के चर्चित स्थानों का नाम व अपना नाम एवं मोबाइल नंबर जरूर नोट करा दें ताकि फायर सर्विस वाहनों व कर्मियों को घटनास्थल पर पहुंचने में सरलता से पहुंच सकेँ और अल्प अवधि में घटनास्थल पर पहुंचकर अग्नि कांड पर प्रभावी नियंत्रण लगा सकें। अग्नि आपदा जोखिम न्यूनीकरण करते हुए स्कूल कॉलेज फैक्ट्री अस्पताल बारातघर कार्यालय गोदाम दुकान और बहु मंजिली भवनों में लगे अग्नि सुरक्षा उपकरणों को बेहतरीन तरीका से चला कर अग्नि दुर्घटनाओं पर प्रभावी नियंत्रण लगाते हुए जनहानि की संभावना कुछ करते हुए राष्ट्रीय संपत्ति को बचाने में कामयाबी हासिल कर सकें। विद्युत शार्ट सर्किट और एलपीजी सिलेंडर के रिसाव से अधिकांश अग्नि दुर्घटनाएं होती हैं प्रशिक्षण में एलपीजी सिलेंडर की आग को जुगाड़ पद्धति से बुझाने का सरल तरीका बताते हुए। उसका प्रदर्शन भी करके प्रशिक्षु युवाओं को दिखाया गया। जिससे युवाओं में अति उत्साह देखा गया और अधिक से अधिक युवा, एनसीसी कैडेट एवं महिलाओं ने आग बुझाने का अभ्यास किया। अग्निशमन अधिकारी उन्नाव ने प्रशिक्षु युवाओं को बताया कि अग्निशमन सुरक्षा को तीन भागों में बांट कर जन-जन तक अग्नि सुरक्षा जागरूकता पहुंचाना है उन्होंने बताया कि ढांचागत सुरक्षा अर्थात हवन बनाने से पूर्व मानचित्र पर सुरक्षित भवन की डिजाइन तैयार कर डिजाइन के अनुसार भवन का निर्माण कराया जाए जिसमें न्यूनतम 12 मीटर चौड़ी सड़क भवन बनाए एवं भवन के ऊंचाई के सापेक्ष सेट- बैंक छोड़ा जाना आवश्यक है।सुरक्षित भवन के निर्माण के उपरान्त फिक्स फायर फाइटिंग कराया जाता है और चेतावनी पद्धत भवन में लगे होने पर कहीं से भी धुआं निकलने पर आपको सूचना प्राप्त हो जाती।
प्रशिक्षण में आपदा प्रबंधन के मुख्य प्रशिक्षक लखन शुक्ला द्वारा प्राथमिक उपचार पर विस्तृत जानकारी दिया गया ।उपरोक्त प्रशिक्षण में अग्नि आपदा जोखिम से न्यूनीकरण करने और भवनों को सुरक्षित रखने वाले सहयोगी टीम में लीडिंग फायरमैन विद्या कान्त मिश्रा फायरमैन श्रीगजेंद्र सिंह ,अमरीश कुमार ,ओमवीर सिंह, सोहन लाल एवं अभिषेक कुमार ने आग बुझाने और आग से बचाव कार्य अच्छी तरह किया जाए के प्रदर्शन में महत्वपूर्ण योगदान दिया
उक्त प्रशिक्षण में 75 लोग सम्मिलित होकर आग बुझाने और आग से बचाव करना सीखें तथा अग्निशमन उपकरणों को चलाने का अभ्यास किया।

Gaurav Awasthi copy