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सासनी : विद्यापीठ इंटर कॉलेज में प्रधानाचार्य डॉक्टर राजीव अग्रवाल के नेतत्व में सुहेलदेव जयंती व बसंत पंचमी उत्सव बडे ही हर्षोल्लास के साथ मनाया गया।
मंगलवार को मनाए गये कार्रक्रम के दौरान प्रधनाचर्य ने बच्चों को बताया कि श्रावस्ती नरेश राजा प्रसेनजित ने उप्र में बहराइच राज्य की स्थापना की थी। इसका प्रारंभिक नाम भरवाइच था। इन्हीं महाराजा प्रसेनजित के पुत्र थे सुहेलदेव। सुहेलदेव पारसी थे और उनका साम्राज्य गोरखपुर से सीतापुर तक फैला हुआ था। गोंडा, बहराइच, लखनऊ, बाराबंकी, उन्नाव व लखीमपुर इस राज्य की सीमा में आते थे। इसी काल क्रम में महमूद गजनवी ने भारत में अनेक राज्यों को लूटा तथा सोमनाथ सहित अनेक मंदिरों का विध्वंस किया। उसके रिश्तेदारों ने बाराबंकी के सतरिख (सप्तऋषि आश्रम) पर कब्जा कर वहां अपनी छावनी बनायी। मसूद अपने सैनिकों के साथ बहराइच पहुंचा। उसने यहां की बालार्क मंदिर को तोडने की कोशिश की। कि इस क्षेत्र में महाराजा सुहेलदेव राजभर और पासी समाज में एकरूप से मान्य है। वे अन्य पिछड़ी और दलित जातियों के अधिनायक भी हैं। बहराइच में गौतमबुद्ध सहित शाक्यमुनि की भी तपस्थली है। उन्होंने बसंत पंचमी के बारे में बताया कि ब्रम्हा जी तथा विष्णु जी मां दुर्गा से बात कर रहे थे तभी मां दुर्गा के शरीर से स्वेत रंग का एक भारी तेज उत्पन्न हुआ जो एक दिव्य नारी के रूप में बदल गया। यह स्वरूप एक चतुर्भुजी सुंदर स्त्री का था जिनके एक हाथ में वीणा तथा दूसरा हाथ में वर मुद्रा थे । अन्य दोनों हाथों में पुस्तक एवं माला थी। आदिशक्ति श्री दुर्गा के शरीर से उत्पन्न तेज से प्रकट होते ही उन देवी ने वीणा का मधुरनाद किया जिससे संसार के समस्त जीव-जन्तुओं को वाणी प्राप्त हो गई। जलधारा में कोलाहल व्याप्त हो गया। पवन चलने से सरसराहट होने लगी। तब सभी देवताओं ने शब्द और रस का संचार कर देने वाली उन देवी को वाणी की अधिष्ठात्री देवी सरस्वती कहा गया। फिर आदिशक्ति भगवती दुर्गा ने ब्रम्हा जी से कहा कि मेरे तेज से उत्पन्न हुई ये देवी सरस्वती आपकी पत्नी बनेंगी, जैसे लक्ष्मी श्री विष्णु की शक्ति हैं, पार्वती महादेव शिव की शक्ति हैं उसी प्रकार ये सरस्वती देवी ही आपकी शक्ति होंगी। इस दौरान अरूण कौशिक, प्रबंधक पं. प्रकाश चंद्र शर्मा, संजय कुामर, यज्ञदत्त शर्मा, मुकेश दिवाकर, विनय कुमार, दीपक शर्मा, डा. लोकेश शर्मा, महेन्द्र प्रकाश सैनी, अशोक कुमार, श्रीमती नीरज गुप्ता, श्रीमती रजनी कुशवाहा, आदि मौजूद थे।

इनपुट : आविद हुसैन

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